April 26, 2024

16 जनवरी को ‘गंगा बचाओ आंदोलन’ की रूपरेखा होगी तय

New Delhi/Alive News : गंगा नदी की सफाई का वादा वत्र्तमान केन्द्र सरकार द्वारा पूरा न किए जाने पर नदी प्रेमियों द्वारा 16 जनवरी को गंगा चिंतन शिविर नई दिल्ली में किया जा रहा है। जिसमें समाजसेवी अन्ना हजारे भी प्रधारेंगे। यह जानकारी जल पुरूष के तौर पर दुनियाभर में पहचाने जाने वाले और स्टॉक होम वाटर प्राईज से सम्मानित राजेन्द्र सिंह ने रविवार को मालवीया स्मृति भवन में पत्रकारों से रूबरू होते हुए कहे।

उन्होंने कहा कि देश की सत्ता में आने से पहले वत्र्तमान प्रधानमंत्री ने गंगा पे्रमियों के दिलों में जगह बनाते हुए कहा था कि गंगा को प्रदूषण मुक्त करने के साथ-साथ निर्मल और अविरल कराऐंगे। राजेन्द्र सिंह ने वत्र्तमान सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा कि साढे तीन सालों में गंगा की समस्याओं का निदान तो हुआ नहीं बल्कि बदहाली और हुई है। अगर, समय रहते सरकार जागी नहीं तो गंगा नदी सिर्फ नाम की ही नदी रह जाएगी।

उन्होंने कहा कि देश के प्रधानमंत्री सत्ता में आने से पहले कहते थे, वह आए नहीं बल्कि गंगा ने उन्हें बुलाया है। इसी बनारस की भूमि से कही उक्त बात से ही गंगा नदी प्रेमियों में आस जगी थी, लेकिन सिर्फ वह बात भाषणों तक ही रह गई। उन्होंने गंगा की बदहाली के प्रमाण देते हुए कहा कि गंगा में नील धारा नरोरा बैराज में तीस प्रतिशत पक्षियों और जलिए जन्तुओं की संख्या बड़ी तेजी से घटी है। यह विश्व प्रकृति निधि संस्था की जनगणना और हरिता मां फाउण्डेशन (स्वेच्छिक संस्था)के अनुसार आंकड़े है।

इनके अनुसार गंगा में दारानगर गंज(बिजनौर) से नरोरा बेराज तक डॉल्फिन की संख्या 2012 तक 56 थी, लेकिन 2017 तक यह घट कर तीस रह गई है। उन्होंने कहा कि गंगा के क्षेत्र कानपुर से लेकर कनौज के बीच बसे गांव में कैंसर के रोगियों की संख्या बड़ी तेजी से बढ़ती जा रही है। राजेन्द्र सिंह ने पत्रकारों को यह भी बताया कि गंगा के पानी में फॉस्फेट, क्रोमियम, नाइट्रेट की मात्रा बढ़ती जा रही है। जिसका बुरा असर खेती में भी दिखने लगा है। उन्होंने कहा कि एनजीटी की रोक के बाद भी गंगा नदी में गंदे नाले और सीवर मिल रहे है। इस पर भी सरकार रोक नहीं लगा पाई है।

उन्होंने कहा कि वर्तमान सरकार एनजीबीआरए की तीसरी बैठक में सीवर-रीवर तथा गंगा में हो रहे प्रदूषण को स्वीकार कर चुकी है। लेकिन इसके समाधान के लिए अभी तक कोई ठोस कदम नहीं उठा पाई है। इसी से नाराज ‘गंगा बचाव आन्दोलन-2’ की शुरूआत के लिए 16 जनवरी 2018 को गांधी शान्ति प्रतिष्ठा में 11 राज्यों के गंगा और नदी प्रेमियों ने चिंतन शिविर का आयोजन किया जा रहा है। जिसमें प्रमुख रूप से समाजसेवी अन्ना हजारे भी नदी प्रेमियों को सम्बोधित करेंगे।