April 25, 2024

छात्रा के साथ आशिक प्रोफेसर की चैटिंग वायरल, GJU में हडक़ंप

Hisar/Alive News : छात्रा के साथ आशिक मिजाज प्रोफेसर की व्हाट्सऐप चैटिंग वायरल हो गई तो यूनिवर्सिटी में हडक़ंप मच गया। वहीं मामला काफी गरमा गया है। घटना हरियाणा के हिसार की है। जीजेयू में एक बार फिर लड़कियों की सुरक्षा को लेकर सवाल खड़े हो गए हैं। पंपलेट के माध्यम से लड़कियों को खतरे के बारे में आगाह कराया गया है।

फार्मेसी विभाग के लगभग सभी कमरों में फेंके गए इन पंपलेट पर एक प्रोफेसर व कथित तौर पर एक लडक़ी के बीच मोबाइल पर हुई व्हाटसएप चैटिंग का स्क्रीनशॉट भी है, जिसमें प्रोफेसर ने लडक़ी को वेलेंटाइन विश करने के साथ ही उनकी स्पेशल क्लास अटेंड करने की बात कही है। इसके बाद लडक़ी के क्लास में नहीं आने पर प्रोफेसर ने गुस्सा दिखाते हुए लिखा कि अब देखना तुम सेशनल एग्जाम में कुछ नहीं कर पाओगी।

पंपलेट को लेकर पूरे विभाग में हडक़ंप है। पूर्व डीन के खिलाफ छापे गए इन पर्चों में कहा गया है कि विश्वविद्यालय में एक जिम्मेदार पद बैठा ये प्रोफेसर बेटी बचाओ और बेटी पढ़ाओ की बजाय बेटियों को पास रखने में ज्यादा इंटरेस्टेड है। इसलिए लड़कियां इससे डरी हुई हैं। अगर उसकी बात नहीं मानी तो पढ़ाई खराब हो जाएगी। यह शख्स सभी निगेटिव काम करने के बाद भी स्वयं को पॉजिटिव बताता रहता है। प्रोफेसर की तुलना विज्ञापन में शामिल एक बच्चे से भी की गई है। घटना को लेकर फार्मेसी विभाग के विद्यार्थियों के साथ ही प्रोफेसर्स भी हैरान हैं। ये सभी पंपलेट नोटिस बोर्ड और पूर्व डीन के कमरे के बाहर चिपकाने के साथ ही विभाग के लगभग सभी कमरों में फेंके गए थे।

असलियत सामने लाना जरूरी
पंपलेट में कहा गया है कि अब बहुत हो गया और सहन नहीं होता। इसलिए जरूरी है कि इनकी असलियत को सामने आनी चाहिए। इनका असली चेहरा सबको दिखाने का समय आ गया है। पंपलेट में उनके सारे कारनामे डीआईपीएसएआर में पहुंचाने की बात भी कही गई है।

मेरी छवि खराब करने का प्रयास
आरोपी प्रोफेसर से जब इस बारे में बात की गई तो उन्होंने इस तरह की चैटिंग से इनकार कर दिया। उन्होंने कहा कि वे वेलेंटाइन डे को नहीं मानते। हां यह सच है कि उस दिन क्लास में स्टूडेंटस नहीं आए थे। कुछ ब्वॉयज स्टूडेंट उनकी छवि को खराब करने का प्रयास कर रहे हैं। इस मामले में सच्चाई नहीं है।

– मेरी जानकारी में मामला नहीं आया है। अगर ऐसा है तो इसकी जानकारी ली जाएगी और जांच होगी। – प्रो. टंकेश्वर कुमार, कुलपति, जीजेयू हिसार